Papa ke liye shayari – पापा के लिए शायरी !
पापा उस कठोर खम्बे की तरह है जिसकी धुरी अपने बच्चों के आसपास धूमती है पापा उपर से कठोर होते है पर उनका दिल बहुत ही कोमल होता है एक पिता हमेशा बच्चों की भलाई चाहते है एक पिता अपने बच्चों के ख़ुशी और तरक्की के लिए नजाने अपने कितनो सपनो और खुशियों का गला धोट देता है इसलिए कहते है एक पिता तुलना उस बरगद के पेड़ से की जाती है चाहे कितनी ही आधी-तूफ़ान पर कोई भी आधी-तूफ़ान उस पेड़ का कुछ नहीं बिगाड़ पता उसी तरह एक चाहे कितनी भी मुसीबत आ जाए पर अपने बच्चों के हिफाजत करता है आपने अक्सर माँ के प्यार और त्याग की बात तो सुनी होगी पर आपको बताना चाहेंगे पापा का लाड-दुलार और संघर्ष भी कुछ कम नहीं होता इसलिए आज हम आपके लिए Papa ke liye shayari लेख लिख रहे है उमीद करते है आपको पसंद आएगा तो चलिए शुरू करते है आज का आर्टिकल – Papa ke liye shayari – 107 से भी ज्यादा पापा के लिए शायरी !
So let’s begin,
पिता के बिना जिंदगी वीरान है
सफर तन्हा और राह सुनसान है
वही मेरी जमीं वही आसमान है
वही खुदा वही मेरा भगवान है
20. जो हिम्मत हारने पर देते हैं साहस
असफल होने पर बताते हैं सफलता का रास्ता
दुख के हर पल को भी बना देते हैं खुशनुमा
वह और कोई नहीं मेरे पापा ही तो हैं
21. बचपन में जिन्होंने उंगली पकड़ कर चलना सिखाया
बड़े होकर सपनों को उड़ान भरना सिखाया
वही पापा छिपकर जताते थे प्यार जिसकी मैंने हमेशा की शिकायत
आज खुद पापा बनकर इस छिपकर प्यार का अर्थ समझा हूं
पर आपको अपना प्यार नहीं समझा पाया
22. कब का दुनिया मुझे कर देती बर्बाद
अगर पापा ने न दिया होता साथ
उस दिन समझ पाया सख्त दिखने वाले पापा का प्यार
जिस दिन उन्होंने पूरी दुनिया के खिलाफ जाकर दिया मेरा साथ
23. पापा के सबक को जब-जब मैंने नहीं सुना
तब-तब मुसीबतों का पहाड़ मुझ पर टूटा
जब सबने साथ देने से कर दिया इनकार
तब पिता के कांपते हाथों ने ही दिया था सहारा
24. दुनिया के तानों ने जब-जब की मुझे गिराने की कोशिश
पिता के मजबूत हाथों ने थामा है हाथ मेरा
14. जो मजा पापा के कंधों पर झूलने में आता था
वो मजा पार्क के झूलों में कहां है
4. मतलब की इस दुनिया में वह पिता ही तो है
जो औलाद को बेमतलब प्यार करता है
7. मेरी पहचान आप हैं
मेरी जमीं और आसमान भी आप हैं पापा
8. बिना बताए मेरे मन की हर बात पढ़ लेते हैं
मेरे पापा मेरी हर बात मान लेते हैं
9. सबसे खुशकिस्मत है वह इंसान
जिसके पास है पिता के प्यार की बेशुमार दौलत
11. पिता वह कुम्हार हैं जो अपनी डांट से ठोक-पीटकर
बच्चों को अच्छा इंसान बनाता है
12. अपनी दुनिया में आकर पता चला
मेरी खुशियों के लिए कितना कुछ कुर्बान किया होगा आपने पापा
16. जब तक पिता का रहता है साथ
जिंदगी में नहीं पकड़ना पड़ता किसी का हाथ
26. पिता उस दीये की तरह हैं जो खुद जलकर
औलाद का जीवन रौशन करते हैं
27. रब से है बस एक ही दुआ
मेरे पापा रहे सदा खुश दूर रहे उनसे हर बदुआ
25. आपकी जिस सख्ती से थी नफरत
आज उसी पर प्यार आता है
काश! आज फिर से आपकी मिलती डांट
तो फिर तस्वीरों से न करनी पड़ती बात
28. जिंदगी के हर तूफान में जो कभी नहीं छोड़ता है साथ वह हैं मेरे पापा
29. कभी गुस्सा तो कभी प्यार यही है पापा के प्यार की पहचान
30. मेरा वजूद मेरी पहचान मेरी जिंदगी सब आपसे ही है पापा
31. जिस हाथ को थामकर सीखाया था चलना कभी
आज कैसे गए भूल हम उन कांपते हाथों को थामना?
32. सब खरीद सकते हो मतलब की इस दुनिया में
मगर कहां से खरीदोगे पिता का निःस्वार्थ प्यार
33. वह पापा ही तो है जो बचपन में हमें हंसाने के लिए कभी हाथी तो कभी घोड़ा बन जाते थे
34. जेब खाली होने पर भी जिन्होंने पूरी की मेरी हर फरमाइश वह हैं मेरे पापाजी
35. पिता बरगद का वह पेड़ है जो सिर्फ देना जानता है
36. जिंदगी के लिए जो खुशी का रास्ता बनाता है वह पिता ही होता है
37. जिसने हर दुआ में मेरी कामयाबी मांगी वह है मेरे पिताजी
38. अनुशासन का दूसरा नाम है पापाजी
39. जिनके आदर्शों ने दिखाई मुझे हरदम सही राह वह हैं मेरे पापा
40. मेरी शोहरत मेरे पिताजी की बदौलत है
41. जिस शख्स ने मेरी जिंदगी में रंग भरने के लिए अपने जिंदगी को बेरंग किया है वह है मेरे पापाजी
42. मेरी पहचान मेरे पिता के बिना अधूरी है
43. रब की रहमत और उनके अमृत फल का वरदान है पिताजी
44. मुसीबत के समय जो सबसे पहले आकर हाथ थामता है वह हैं पापा
45. मेरी खुशी के लिए दुनिया से टकराने की हिम्मत रखने वाले इंसान हैं मेरे पिताजी
46. मेरी ताकत मेरी हिम्मत मेरी शान हैं मेरे पापा
47. हर दर्द खुद सहकर जिसने मुझे रखा है हर गम से महफूज वह हैं मेरे पापाजी
48. घर में पूजा-कीर्तन करके क्या करोगे जब भगवान को ही वृद्धाश्रम छोड़कर आए हो
49. जो हर परिस्थिति में हंसते और हंसाते रहते हैं वह हैं मेरे पापाजी
50. मेरी जिंदगी का पहला और आखिरी सच्चा दोस्त हैं मेरे पापा
51. परिवार की हिम्मत आस और विश्वास है पिता
52. जिससे सब कुछ पाया है जिसने सब कुछ सिखाया है
शत शत प्रणाम उस प्यारे पिता को
53. मुझसे भी ज्यादा मुझे पहचाने वाले शख्स हैं मेरे पापा
54. मेरी पहचान मेरा वजूद सिर्फ आपसे ही है पापा
55. जिस मंजिल और खुशी का सपना हम देखते हैं उसे पूरा सिर्फ पाप ही करते हैं
56. मेरी नजर में दुनिया के सबसे ताकतवर और हिम्मती इंसान हैं मेरे पापा जी
57. हंसते हैं हंसाते हैं जब रूठ जाता हूं तो मुझे मनाते हैं पापा
58. आप बदल सकते हैं पर जो नहीं बदलता वो है पापा का प्यार
59. पिता ही वह इंसान है जिसका गुस्सा और कड़वी बातें बच्चों के लिए अमृत समान होती है
60. हमारी खुशियों के लिए जो हर दम अपनी खुशियां कुर्बान करता है वह पिता ही तो है
61. हर बार गिरने से पहले जो मुझे थाम लेते हैं वो हैं मेरे पापा
62. पिताजी की शिक्षा और सबक ही जिंदगी की असली नींव होती है
63. आपके दर्द में सबसे पहले जिसकी आंखों में आंसू बहाते हैं वह है पिता
64. पिता ही वह इंसान होता है जो बच्चों के नाम से पहचाने जाने को अपना सम्मान समझता है
65. मेरी छोटी-सी खुशी के लिए जो सबकुछ सह जाते हैं वह हैं मेरे पापा
66. भगवान का सबसे अमूल्य और कीमती तोहफा है पिता का प्यार
67. पिता ही तो हैं जिसने उंगली पकड़कर चलना सिखाया और जिंदगी से लड़ना भी सिखाया
68. जितना भी हो जाओ धनी लेकिन रहोगे गरीब
अगर नहीं मिला मां-बाप का प्यार
69. खुद पिता बनकर जाना कि पिता बनना जितना आसान है
उतना ही मुश्किल होता है पिता का फर्ज निभाना
70. बच्चे की इच्छा को पूरा करने के लिए पिता की क्षमता अनंत हो जाती है
71. बोझ कितना भी भारी हो कभी उफ नहीं करता है पिता
बच्चों की ख्वाहिशों के बोझ से कभी उसका कंधा नहीं झुकता है
72. पिता से बड़ा दोस्त दुनिया में कोई नहीं होता है
73. पिता वह इंसान होता है जो बच्चे को गिरकर उठना सिखाता है
74. दुनिया का सबसे बड़ा योद्धा पिता होता है और वही बच्चों को योद्धा बनना भी सिखाता है
75. पिता वह होता है जो संतान की हर गलती को माफ करके गले लगा लेता है
76. अनुशासन की पहली शिक्षा जो सिखाता है वह है मेरे पिताजी
77. पिता के गुस्से को उनका गुस्सा समझकर उनसे न हो दूर
यह तो उनका प्यार है जो गुस्सा बनकर हमें जीने की राह दिखाता है
78. जो अपने दर्द को छिपाकर बच्चे के होंठों पर मुस्कान लाता है वो है पिता
79. जिंदगी की हर बाजी को जो जीतना सिखाता है
शतरंज की हर चाल को जो चलना सिखाता है वह है मेरे पापा
80. पिता को अगर गुरु मान लो तो जीवन की सारी कठिनाइयों से लड़ने का हुनर सीख जाओगे
81. पिता के लिए बेटी होती है परी
घर के खुशियों की होती है कली
82. अपनी परी रानी के लिए न जाने कितनी परेशानियां सहता है पिता
अपनी गुड़िया की खुशी के लिए कठिनाइयों के ताप में तपता है पिता
83. पिता की लाडली गुड़िया रानी
दिल की होती है बड़ी सयानी
84. काश पापा मैं कभी बड़ी नहीं होती
तो आज आपकी परी रानी कभी पराई नहीं होती
85. क्यों शादी के बाद पापा की परी हो जाती है पराई
कल भी थी आपकी बेटी आज भी है आपके नेत्रों की ज्योति
86. क्यों मायके की चौखट लांघते आपने छुड़ा ली अपनी उंगली
मैं कल भी आपकी बेटी थी आज भी और कल भी आपकी बेटी ही रहूंगी
87. बेटी के नजरों में पापा ही हीरो होते हैं
जो उसके हर दुख और दर्द को जीरो कर देते हैं
88. बेटी की जिंदगी में पिता की जगह कोई नहीं ले सकता
89. ससुराल में जब भी पिता का जिक्र आता है बेटी का दिल भर आता है
दूर रहकर भी एक-दूसरे की फिक्र कुछ ऐसा ही होता है बाप-बेटी का प्यार
90. बेटी के दिल की बात पिता एक पल में लेते हैं समझ
क्योंकि बेटी और पिता का रिश्ता ही अनूठा होता है
91. पिता के लिए बेटी कभी-कभी मां
तो कभी छोटी-सी गुड़िया बन जाती है
92. पिता के आशीर्वाद के बिना किसी भी कामयाबी के कोई मायने नहीं होते
93. बेटियां सबके नसीब में कहां होती हैं
वह वहीं होती हैं जहा खुदा का घर होता है
94. बेटी जैसे-जैसे बड़ी होती है
पिता खुद को बेटी के और करीब पाता है
इसीलिए तो बेटी के जाने के बाद
सबसे ज्यादा गम पिता को होता है
95. बाप-बेटी का रिश्ता होता है अनोखा
बिन कहें ही जान लेते हैं एक दूजे के मन की बात
96. बिना बोले बेटी की जरूरतें जिसने की हैं पूरी
उसके बिना बेटी की जिंदगी है अधूरी
97. न जाने बेटी की खुशी के लिए कितने सामानों को जोड़ते हैं पिता
बेटी को सुखी करने के लिए न जाने कितने चक्रव्यूहों को तोड़ने हैं पिता
98. जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है बेटी को समझ में आता है पिता का प्यार
इसलिए समय के साथ पिता के लिए बेटी के दिल में बढ़ता है अनुराग
99. शब्दों में पिता-पुत्री के रिश्तों को नहीं बांधा जा सकता
इन दोनों के प्यार को किसी दायरे में नहीं समेटा जा सकता
100. ससुराल में सबने पूछा बहु दहेज में क्या-क्या लाई है
पर क्या किसी ने कभी पूछा तू अपने पीछे बाबा का प्यार छोड़ आई है
101. किस्मत वाले होते हैं जिन्हें बेटियां नसीब होती हैं
सच ही तो है उन्हें ही असली मोहब्बत नसीब होती है
102. बेटियां तो सिर्फ बांहें पसारें देती हैं प्यार-दुलार
फिर क्यों जमाना उनसे छीन लेता है अपनों का प्यार
103. एक मीठी-सी मुस्कान होती है बेटी
पराये घर की पहचान होती है बेटी
104. धन तो पराया होता है लेकिन बेटी नहीं होती है पराई
इसलिए मां-बाप बिना रोए नहीं कर पाते हैं उसकी विदाई
105. पराया करने के बाद भी पिता के लिए नहीं होती बेटी पराई
काश! यह सब समझ लेते तो कोई बेटी आग में नहीं जाती जलाई
106. पापा मैं तुम्हारे लिए ही जन्नत से आई हूं
सच ही कहा है सबने मैं आपकी ही परछाई हूं
107. पिता के लिए बेटी भार नहीं
आधार होती है जीवन का
Conclusion
Let’s wrap it,
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